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23जेएनडी17: अर्बन इस्टेट में बरसात के बाद सड़क से गुजरते वाहन। संवाद
जींद। जिले में पश्चिमी विक्षोभ की सक्रियता के चलते सोमवार को दिनभर बूंदाबांदी होती रही। बूंदाबांदी फसलों के लिए संजीवनी बन गई है। बूंदाबांदी की वजह से अधिकतम तथा न्यूनतम तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई है। सोमवार को अधिकतम तापमान 15 डिग्री तथा न्यूनतम तापमान 7 डिग्री दर्ज किया गया। मौसम में आर्द्रता 83 प्रतिशत तथा हवा की गति 13 किलोमीटर प्रतिघंटा रही।
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मौसम विभाग के अनुसार मंगलवार को भी बादल छाए रहेंगे। कोहरे का असर भी देखने के लिए मिलेगा। पश्चिमी विक्षोभ के चलते रविवार शाम को ही मौसम ने करवट ले ली थी। मध्यरात्रि के बाद आकाश में बादल छा गए और अलसुबह बूंदाबांदी शुरू हो गई, जो रुक-रुक कर दोपहर तक होती रही। इसके चलते अधिकतम तापमान में छह तो न्यूनतम तापमान में 2 डिग्री की गिरावट दर्ज की गई। उत्तरी पश्चिमी हवा के चलते ठंड का असर भी जनजीवन पर साफ देखने के लिए मिला।
सूखी ठंड से भी राहत
रबी की फसल बिजाई के बाद से बूंदाबांदी तो दूर कोहरा तक नहीं पड़ रहा था। सूखी ठंड का असर स्वास्थ्य के साथ फसलों पर भी देखने के लिए मिल रहा था। कोहरे का खतरा लगातार बना हुआ था। दिसंबर के तीसरे सप्ताह में हुई बूंदाबांदी ने बीजी गई फसलों को संजीवनी देने का काम किया है। इसमें गेहूं, सरसों, चना तथा पशुचारा शामिल हैं। जिले में लगभग सवा दो लाख हेक्टेयर में गेहूं, दस हजार हेक्टेयर में सरसों की बिजाई की गई है। अगर अच्छी बारिश होती है तो फसलों को और ज्यादा फायदा पहुंचता।
पश्चिमी विक्षोभ के चलते मौसम में बदलाव आया है। बूंदाबांदी से फसलों को फायदा पहुंचा है। सूखी ठंड से कुछ राहत मिली है। अच्छी ठंड का दौर शुरू हो गया है। 26 दिसंबर को फिर बूंदाबांदी के आसार बन रहे है। अब धुंध भी पड़ेगी। किसान फसलों में खाद का प्रयोग करें।
23जेएनडी17: अर्बन इस्टेट में बरसात के बाद सड़क से गुजरते वाहन। संवाद