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हिसार। पिछले दो-तीन सालों में शहर में नशे का कारोबार फल-फूल रहा है। युवा नशे के चंगुल में फंसकर अपनी जान गंवा रहे हैं। परिवार बर्बाद हो रहे हैं, लेकिन चिंता का विषय यह है कि तेजी पांव पसार रही इस भयावह समस्या का समाधान किसी भी पार्टी के एजेंडे में नहीं है। नशामुक्ति को लेकर सरकार के पास भी कोई रोडमैप नहीं है। पुलिस गांवों को नशामुक्त घोषित करने का अभियान चलाए हुए हैं, लेकिन सकारात्मक परिणाम सामने नहीं आ रहे। बेशक कागजी कार्रवाई जरूर हो रही है। दरअसल नशे को जड़ से कैसे खत्म किया जाए, इसकी आपूर्ति चेन को कैसे रोका जाए। इसकी कोई कार्ययोजना नहीं है। प्रतिबंधित दवाओं की पकड़ के लिए मेडिकल स्टोर पर खानापूर्ति की कार्रवाई की जा रही है।
पिछले एक साल में शहर में नशे की ओवरडोज के कारण 7 युवाओं की जान जा चुकी है। खासकर सबसे पहले बेरोजगार युवा नशे की चपेट में आ रहे हैं। गली-मोहल्लों के मेडिकल स्टोर प्रतिबंधित दवाएं सहज उपलब्ध हो रही है। मेडिकल नशा तस्करी पर कोई प्रभावी अंकुश नहीं है। शहरवासियों की मानें तो चुनावी मैदान में डटे उम्मीदवारों को इस मुद्दे को घोषणा पत्र में शामिल कर समाधान के प्रभावी प्रयास करने चाहिए। शहर में आंबेडकर बस्ती, 12 क्वार्टर एरिया, धक्का बस्ती, मिलगेट एरिया का नाम सबसे पहले आता है, जहां नशा बिकता है। आंबेडकर बस्ती तो नशीले पदार्थों के लिए कुख्यात है। नजदीकी सातरोड गांव में भी नशे का धंधा अपने पैर पसार रहा है।
कब-कब हो चुकी नशे के कारण मौत
– 06 अप्रैल 2023: पीरांवाली के 28 साल के विजय की नशे की ओवरडोज के कारण मौत हुई थी।
– 31मई: नागरिक अस्पताल के शौचालय में युवक का शव मिला था। उसके हाथ में सीरींज लगी हुई थी।
– जुलाई 2023: जवाहर नगर में थुराना निवासी अमरदीप की नशे के कारण मौत हुई थी।
– जुलाई 2023: सेक्टर 1-4 के जलघर के पास सुनील का शव मिला था। उसकी मौत भी नशे की ओवरडोज के कारण मौत हुई थी।
– 6 जनवरी 2024: न्यू क्लॉथ मार्केट की झाड़ियों में गौरव का शव मिला था। नशे की ओवरडोज के कारण उसकी मौत हुई थी।
24 फरवरी: विकास नगर की झाड़ियों में विशाल का शव मिला था। नशे के कारण ही उसकी मौत की पुष्टि हुई।
04 मार्च: विकास नगर में अजय नाम के युवक की मौत नशे की ओवरडोज के कारण हुई।
7 अप्रैल: शिव नगर के तिकोना पार्क में टिब्बा दानाशेर निवासी रवि का शव मिला था। नशे के कारण उसकी मौत हुई थी।
18 अप्रैल: कुलेरी गांव में नशे से युवक की जान गई थी।
12 सितंबर: आदमपुर में हिसार के युवक की मौत।
14 सितंबर: उकलाना में युवक की नशे की ओवरडोज से मौत
50 से अधिक गांवों में पुलिस कर चुकी है नशा करने वाले युवाओं की पहचान
एडीजीपी द्वारा गठित टीम जिले के 50 से अधिक गांवों में नशा मुक्ति अभियान चला कर ऐसे युवाओं की पहचान कर चुकी हैं. जो नशा करते है। इन गांवों में शिविर लगाकर नशा करने वाले युवाओं की काउंसिलिंग की जाती है और नशा छोड़ने के लिए दवाइयां दी जाती है।
पिछले कुछ सालों से शहर में नशे का कारोबार खूब बढ़ा है और युवा वर्ग इसकी चपेट में आ रहा है, जो बड़ी चिंता का विषय है। इस पर जल्द काबू पाना होगा। सरकार और प्रशासन दोनों के स्तर पर कार्रवाई होनी चाहिए। – भूपेंद्र
नशावृत्ति पर लगाम कसने के लिए गंभीरता से काम करना होगा। सरकार को आमजन के सुझाव से रोडमैप बनाना चाहिए। ऐसा नहीं हो पाया तो पता नहीं हमारा शहर कब उड़ता पंजाब बन जाए। – अमन
सभी राजनीतिक पार्टियों को अपने चुनावी एजेंडे में नशामुक्ति का मुद्दा शामिल करना चाहिए। यह गंभीर समस्या है, जो पिछले दो-तीन सालों में तेजी फैली है और लगातार बढ़ती जा रही है। – मंजीत
पुलिस प्रशासन को नशे के कारोबार पर अंकुश लगाने के लिए सख्त कदम उठाने चाहिए। इस समस्या को खत्म करने के लिए राजनीतिक इच्छाशक्ति का भी होना जरूरी है। – नवीन
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