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GST काउंसिल की 54वीं मीटिंग कल यानी 9 सितंबर (सोमवार) को होगी। इस मीटिंग में इंश्योरेंस प्रीमियम पर लगने वाले GST समेत कई मुद्दों पर चर्चा की जाएगी। कई एक्सपर्ट्स हेल्थ इंश्योरेंस पर GST खत्म करने या कम करने की बात कह रहे हैं।
सरकार इस पर क्या फैसला लेगी, यह कल पता चलेगा। अगर इंश्योरेंस पर GST कम या खत्म होता है तो इससे आम लोगों को काफी राहत मिलेगी। उनके लिए इंश्योरेंस लेना सस्ता हो जाएगा।
इस मीटिंग में ऑनलाइन गेमिंग पर कंडीशन रिपोर्ट समेत और भी कई मुद्दों पर चर्चा होगी। सूत्रों के मुताबिक, केंद्र और राज्य टैक्स अधिकारियों वाली फिटमेंट समिति लाइफ, हेल्थ और री-इंश्योरेंस प्रीमियम पर लगाए गए GST और रेवेन्यू से जुड़ी एक रिपोर्ट पेश करेगी।
हेल्थ इंश्योरेंस पर टैक्स 18% से कम किया जा सकता है केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता वाली और राज्य मंत्रियों वाली GST काउंसिल तय करेगी कि हेल्थ इंश्योरेंस पर टैक्स का बोझ मौजूदा 18% से कम किया जाए या सीनियर सिटीजन जैसी कुछ कैटेगरी के लिए छूट दी जाए। मीटिंग में लाइफ इंश्योरेंस प्रीमियम पर भी GST में कटौती के संबंध में भी विचार-विमर्श होगा।
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केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता वाली GST काउंसिल की मीटिंग में हेल्थ इंश्योरेंस पर टैक्स का बोझ मौजूदा 18% से कम किया जा सकता है।
ऑनलाइन गेमिंग के संबंध में कंडीशन रिपोर्ट पेश की जाएगी ऑनलाइन गेमिंग के संबंध में केंद्र और राज्य टैक्स अधिकारी GST काउंसिल के समक्ष एक कंडीशन रिपोर्ट पेश करेंगे। रिपोर्ट में बताया जाएगा कि 1 अक्टूबर 2023 से पहले और बाद में ऑनलाइन गेमिंग फील्ड से GST रेवेन्यू कितना मिला है। 1 अक्टूबर 2023 से ही ऑनलाइन गेमिंग, कसीनो और घुड़दौड़ पर 28% GST लगाया गया था।
ऑनलाइन गेमिंग प्लेटफॉर्म को 28% GST पेमेंट करना जरूरी इससे पहले कई ऑनलाइन गेमिंग कंपनियां 28% GST का भुगतान नहीं कर रही थीं। कंपनियों का तर्क था कि स्किल के खेल और चांस के खेल के लिए अलग-अलग टैक्स दरें हैं। अगस्त 2023 में अपनी मीटिंग में GST काउंसिल ने स्पष्ट किया था कि ऑनलाइन गेमिंग प्लेटफॉर्म को 28% GST पेमेंट करना जरूरी है।
22 जून को हुई थी GST काउंसिल की 53वीं मीटिंग GST काउंसिल की 53वीं मीटिंग 22 जून को हुई थी। तब दूध के डिब्बों और सोलर कुकर पर 12% टैक्स लगाने का फैसला किया गया था। वित्त मंत्री निर्मला ने कहा था कि फर्जी बिलों पर रोक लगाने के लिए फेज्डवाइज यानी चरणबद्ध तरीके से पूरे देश में बायोमेट्रिक ऑथेंटिफिकेशन लागू किया जाएगा। वहीं, भारतीय रेलवे की प्लेटफॉर्म टिकट, रिटायरिंग रूम और वेटिंग रूम जैसी सर्विसेज को GST से छूट दी गई।
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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 22 जून को GST काउंसिल की 53वीं मीटिंग की अध्यक्षता की थी।
GST काउंसिल की 53वीं मीटिंग के बड़े फैसले
- रेलवे की सर्विसेज जैसे बैटरी ऑपरेटेड व्हीकल और इंट्रा-रेलवे सर्विसेज GST से मुक्त।
- मिल्क केन्स यानी दूध के सभी तरह के डिब्बों पर एक समान 12% की दर तय की गई।
- फायर स्प्रिंकलर्स समेत सभी प्रकार के स्प्रिंकलर्स पर 12% टैक्स।
- सभी सोलर कुकर पर 12% GST।
- कार्टन बॉक्स पर 12% GST। पहले ये 18% था।
- पोल्ट्री कीपिंग मशीनरी के पार्ट्स पर 12% GST।
- शैक्षणिक संस्थानों के बाहर के हॉस्टल पर भी GST में छूट।
- एयरक्राफ्ट्स के पार्ट्स, कंपोनेंट, टेस्टिंग इक्विप्मेंट, टूल्स और टूल-किट्स के इंपोर्ट पर 5% IGST।
डिमांड नोटिस पर ब्याज और जुर्माना माफ वित्त मंत्री ने कहा था कि अपीलेट अथॉरिटी के समक्ष अपील दायर करने के लिए अधिकतम राशि 25 करोड़ रुपए से घटाकर 20 करोड़ रुपए CGST प्री-डिपॉजिट कर दी जाएगी। छोटे टैक्सपेयर्स की मदद के लिए काउंसिल ने 2024-25 के लिए रिटर्न दाखिल करने के लिए GSTR4 के लिए 30 जून की तारीख की सिफारिश की गई।
मुकदमेबाजी को कम करने के लिए काउंसिल ने अपील दायर करने के लिए हाईकोर्ट के लिए 1 करोड़ रुपए और सुप्रीम कोर्ट के लिए 2 करोड़ रुपए की लिमिट की सिफारिश की। 2017-18, 2018-19, 2019-20 के लिए डिमांड नोटिस पर ब्याज और जुर्माना माफ कर दिया जाएगा, अगर 31 मार्च 2025 तक टैक्स का भुगतान कर दिया जाता है।
पेट्रोल-डीजल को GST के दायरे में लाने का इरादा सीतारमण ने कहा था कि केंद्र सरकार का इरादा पेट्रोल-डीजल को GST के दायरे में लाने का है। इसके लिए किसी संशोधन की जरूरत नहीं है। राज्यों को इसमें शामिल होकर फ्यूल्स पर GST दर तय करने की जरूरत है। उन्होंने कहा था कि दरों को तर्कसंगत बनाने के लिए एक मंत्रियों के समूह (GoM) का गठन हुआ है, जो अगस्त में GST काउंसिल को रिपोर्ट देगा।
सरकार ने अगस्त में GST से ₹1.75 लाख करोड़ जुटाए सरकार ने अगस्त 2024 में GST से 1,74,962 (करीब 1.75 लाख) करोड़ रुपए जुटाए हैं। सालाना आधार पर इसमें 10% की बढ़ोतरी हुई है। पिछले साल अगस्त में 1,59,069 (1.59 लाख) करोड़ रुपए GST कलेक्ट किया था।
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सरकार ने इस दौरान डोमेस्टिक यानी देश के अंदर होने वाले कारोबार से 1.25 लाख करोड़ टैक्स वसूला है। सालाना आधार पर इसमें 9.2% का ग्रोथ हुआ है। वहीं, इंपोर्ट के जरिए 49,976 करोड़ रेवेन्यू के तौर पर सरकार ने कलेक्ट किया है। एक साल में इसमें 12.1% की बढ़ोतरी हुई है।
- अगस्त का कलेक्शन अब तक का किसी भी महीने जुटाया गया चौथा सबसे बड़ा है।
- वित्त वर्ष 2024-25 का तीसरा सबसे बड़ा GST कलेक्शन है।
- अगस्त में सरकार ने टोटल 24,460 करोड़ रुपए की राशि रिफंड की।
- रिफंड के बाद, अगस्त के लिए नेट GST रेवेन्यू 1,50,501 करोड़ रहा।
- अगस्त 2023 की तुलना में नेट GST 6.48% ज्यादा है।
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इकोनॉमी की हेल्थ दिखाता है GST कलेक्शन GST कलेक्शन इकोनॉमी की ओवरऑल हेल्थ का एक संकेतक है। अप्रैल महीने के GST कलेक्शन के आंकड़ों पर KPMG के नेशनल हेड अभिषेक जैन ने कहा कि अब तक का हाईएस्ट GST कलेक्शन मजबूत घरेलू अर्थव्यवस्था को दर्शाता है।
2017 में लागू हुआ था GST सरकार ने 1 जुलाई 2017 को देशभर में GST लागू किया था। इसके बाद केंद्र और राज्य सरकारों के 17 करों और 13 उपकरों को हटा दिया गया था। GST के 7 साल पूरे होने पर वित्त मंत्रालय ने पिछले सात वर्षों के दौरान हासिल की गई उपलब्धियों को लेकर पोस्ट किया।
GST एक इनडायरेक्ट टैक्स है। इसे वैराइटी ऑफ प्रीवियस इनडायरेक्ट टैक्स (VAT), सर्विस टैक्स, परचेज टैक्स, एक्साइज ड्यूटी और कई इनडायरेक्ट टैक्स को रिप्लेस करने के लिए 2017 में लागू किया गया था। GST में 5, 12, 18 और 28% के चार स्लैब हैं।
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GST काउंसिल की 54वीं मीटिंग कल होगी: हेल्थ इंश्योरेंस पर टैक्स 18% से कम किया जा सकता है, ऑनलाइन गेमिंग के टैक्स पर भी चर्चा होगी