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डीएलएसए के सचिव एवं सीजेएम पवन कुमार ने बताया कि शनिवार को जिला मुख्यालय के अलावा तोशाम, सिवानी और लोहारू न्यायिक परिसर में भी इस वर्ष की चौथी राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। डीएलएसए के चेयरमैन और जिला एवं सत्र न्यायाधीश डीआर चालिया ने सभी न्यायालयों में आयोजित राष्ट्रीय लोक अदालत का अवलोकन किया।
सीजेएम पवन कुमार ने बताया कि लोक अदालत वैकल्पिक विवाद समाधान की एक प्रणाली है। जो भारत में बदलते समय के साथ एक प्रणाली के रूप में स्थापित हुई है। लोक अदालतें न केवल लंबित विवाद या पार्टियों के बीच उत्पन्न होने वाले विवादों को सुलझाती हैं, बल्कि यह सामाजिक सद्भाव को भी सुनिश्चित करती है, क्योंकि विवाद करने वाले पक्ष पूर्ण संतुष्टि के साथ सौहार्दपूर्ण ढंग से मामले सुलझाते हैं।
इससे अदालतों के लंबित मामलों में कमी आती है, क्योंकि अपील और संशोधन के रूप में आगे की कार्यवाही को भी समाप्त कर पक्षों की सहमति से मामलों को सौहार्दपूर्ण ढंग से सुलझाया जाता है। विवाद के निपटारे के अलावा, पक्षकारों की ओर से दी गई अदालती फीस की वापसी का लाभ होता है।
सीजेएम पवन कुमार ने कहा कि लोक अदालत में आपराधिक मोटर वाहन दुर्घटना, पारिवारिक मामले, चालान, बैंक ऋण, दीवानी मामले, चेक बाउंस, राजस्व संबंधी मामले रखे गए। उन्होंने बताया इस आयोजित राष्ट्रीय लोक अदालत में भिवानी की लोक अदालत में रखे गए कुल 33,378 में से 22,882 मामलों का निपटारा किया गया। 9,03,51,119 रुपये का निपटान किया गया। सिवानी में 261 में से 235, तोशाम में 103 में से 61 और लोहारू में 77 में से 51 मामलों का मौके पर ही निपटारा किया गया।
जिला मुख्यालय पर प्रिंसिपल जज फैमिली कोर्ट भिवानी जसवीर सिंह सिद्धू, एसीजेएम आशीष कुमार शर्मा, एसीजेएम जोगिंदर सिंह, सीजे-जेडी-कम-जेएमआईसी अंतरप्रीत सिंह, सीजे-जेडी-कम-जेएमआईसी हार्दिक सचदेवा, एसीजे-एसडी-कम-एसडीजेएम सिवानी मोहम्मद जकारिया खान, एसीजे-एसडी-कम-जेएमआईसी लोहारू देवेंद्र सिंह और एसीजे-एसडी-कम-जेएमआईसी तोशाम सुनील कुमार के न्यायालयों में मामले रखे गए। इस दौरान दोनों पक्षों के अभिवक्ता, पैनल अधिवक्ता, अधिकार मित्र (पीएलवी) भी मौजूद रहे।
तोशाम में 61 केसों का निपटारा, 83.57 रुपये वसूले गए
तोशाम। अतिरिक्त सिविल जज सीनियर डिविजन कम चेयरमैन उपमंडल विधिक सेवा प्राधिकरण सुनील कुमार ने बताया कि स्थानीय न्यायालय परिसर में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। इसमें 103 केस रखे गए थे, जिनमें से 61 केसों का निपटारा लोगों की आपसी सहमति से किया गया। 83,57,737 रुपये वसूले गए। इनमें बैंक वसूली के नौ, कंपोंडेबल के तीन, एनआई एक्ट के चार, सिविल केस 19 और अन्य 26 केसों में संबंधित लोगों की आपसी सहमति से वसूली की गई। संवाद
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Bhiwani News: राष्ट्रीय लोक अदालत में किया 22,882 केसों का निपटान