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- Column By Pandit Vijayshankar Mehta If You Want To Do Silent Meditation, Then Definitely Take Out Time For Yoga
पं. विजयशंकर मेहता
आजकल सोशल मीडिया पर लोग एक-दूसरे की फोटो के साथ बहुत खेल रहे हैं। यह तय है कि आने वाले समय में चित्रों का जो मूल महत्व था, किसी तस्वीर के पीछे जो एक संदेश था, कुछ चित्रों के पीछे विचार भी थे, एआई उनको खा जाएगा।
फोटोबाजी का खेल आने वाले समय में मनुष्य को और वासना की तरफ धकेलेगा। अब इसे आध्यात्मिक दृष्टि से देखें, तो एआई मन का पुराना साथी है। एआई का प्रयोग करके लोग सोशल मीडिया पर जो कुछ भी कर रहे हैं, पहले मन वो काम करता था।
मन ऐसे-ऐसे चित्र बना लेता है, ऐसे-ऐसे दृश्य भीतर पैदा करता है कि साथ बैठा व्यक्ति कल्पना भी नहीं कर सकता कि आपके भीतर मन रूपी एआई क्या संसार बसा चुका है। जैसे बुद्धि आनंद में जीना सिखाती है और मन उसे सनक में बदलता है, इसलिए एआई से जुड़े लोग धीरे-धीरे सनकी होते मिलेंगे। जैसे तकनीक की दुनिया में फिल्टर लगाया जाता है, ऐसे ही मन के लिए जो फिल्टर है उसका नाम है मौन। और मौन साधना हो, तो थोड़ा समय योग के लिए जरूर निकालिए।
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पं. विजयशंकर मेहता का कॉलम: मौन साधना हो तो योग के लिए जरूर समय निकालें