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किसान महंगे दामों पर खरीदने को मजबूर, निजी दुकानदारों पर कालाबाजारी के आरोप
संवाद न्यूज एजेंसी
पुन्हाना। नूंह जिले में डीएपी और यूरिया खाद की मांग तेजी से बढ़ गई है लेकिन सरकारी बिक्री केंद्रों पर खाद न मिलने से किसान परेशान हैं। मजबूरी में उन्हें निजी दुकानदारों से खाद खरीदनी पड़ रही है। किसानों का आरोप है कि दुकानदार उनसे मनमाने दाम वसूल रहे हैं।
किसानों के अनुसार, सरकार द्वारा डीएपी खाद की कीमत 1350 रुपये प्रति बैग और यूरिया की कीमत 270 रुपये तय की गई है। इसके बावजूद बाजार में डीएपी 1800 से 1850 रुपये तक और यूरिया 400 रुपये तक में बेची जा रही है। किसानों का कहना है कि यह सीधे तौर पर कालाबाजारी है लेकिन विभाग के अधिकारी कार्रवाई करने में लापरवाह बने हुए हैं।बीसरू, झारोकड़ी, नवलगढ़, जमालगढ़, भूरियाकी, इंदाना और पापड़ा समेत कई गांवों के हाजी सहूद, अख्तर हुसैन, ताहिर हुसैन, तोसिफ खान, जान मोहम्मद, आसिफ, अंसार अख्तर और अरशद एडवोकेट ने बताया कि बुवाई के सीजन में खाद की कमी ने परेशानी बढ़ा दी है। उन्होंने कहा कि पुन्हाना की सरकारी दुकानों पर खाद उपलब्ध नहीं है जबकि निजी दुकानदारों ने अपने गोदामों में डीएपी खाद का स्टॉक छिपाकर रखा हुआ है ताकि खाद की कालाबाजारी की जा सके।
वर्जन
किसानों को सतर्क रहने की जरूरत है। किसान जब भी किसी दुकान से खाद खरीदें तो बिल अवश्य लें। बिना बिल के विभाग कार्रवाई नहीं कर सकता। अगर पुन्हाना क्षेत्र में कालाबाजारी की शिकायत मिलती है तो जांच कर ऐसे दुकानदारों के लाइसेंस रद्द किए जाएंगे। -सुनील कुमार, खंड कृषि अधिकारी, पुन्हाना
फोटो कैप्शन- निजी दुकान पर रखे खाद के बैग।
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Gurugram News: डीएपी-यूरिया की बढ़ी मांग, सरकारी केंद्रों पर खाद नदारद