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कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस ने पहलगाम में हुए आतंकी हमले का बदला लेने की धमकी दी है। लॉरेंस ग्रुप ने इसको लेकर सोशल मीडिया पर एक पोस्ट शेयर की है। जिसमें पाकिस्तानी आतंकी हाफिज सईद की फोटो पर क्रॉस लगाया है। इसमें लॉरेंस गैंग ने लिखा- “तुमने हमारे निर्दो
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मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े ग्रुप ने इस हमले को अंजाम दिया है। हाफिज सईद मुंबई में हुए 26/11 आतंकी हमलों का मास्टरमाइंड और लश्कर-ए-तैयबा का चीफ है।
लॉरेंस ग्रुप ने सोशल मीडिया पोस्ट में क्या लिखा ”राम-राम सभी भाइयों को, जो ये पहलगाम कश्मीर में आतंकी हमला हुआ। बेगुनाह लोगों को बिना किसी कसूर के मारा है, इसका बदला हम जल्दी ही लेंगे। इन्होंने हमारे नाजायज आदमी मारे हैं। हम इनके जायज मारेंगे। एक ही ऐसा मारेंगे पाकिस्तान में घुसकर, जो 1 लाख के बराबर होगा।
तुम हाथ मिलाओगे तो हम गले लगाएंगे, अगर आंख दिखाओगे तो आंखें निकाल लेंगे और ऐसी नीच हरकत करोगे तो पाकिस्तान में घुसकर ईंट का जवाब पत्थर से देंगे। इस पोस्ट में लॉरेंस ग्रुप के अलावा जितेंद्र गोगी ग्रुप, हाशिम बाबा, काला राणा, गोल्डी बराड़ और रोहित गोदारा का भी नाम लिखा हुआ है।
लॉरेंस ग्रुप की सोशल मीडिया पोस्ट…
9 साल से जेल में बंद लॉरेंस, मूसेवाला-गोगामेड़ी समेत कई कत्ल केसों में नाम गैंगस्टर लॉरेंस पर करीब 84 FIR दर्ज हैं। 2016 में उसे नेपाल से गिरफ्तार किया गया था। तब से वह जेल में ही बंद है। इस वक्त वह गुजरात की साबरमती जेल में बंद है। करीब 9 साल से वह जेल से बाहर नहीं आया है। इसके बावजूद देश में हुए मर्डर केसों में उसका नाम आया है। जिनमें मशहूर पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला, राजस्थान के करणी सेना के अध्यक्ष सुखदेव गोगामेड़ी, महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी का मर्डर भी शामिल है। इसके अलावा वह काले हिरण के शिकार के आरोपों से घिरे बॉलीवुड स्टार सलमान खान के भी पीछे पड़ा है।


छात्र से गैंगस्टर कैसे बना लॉरेंस
- कॉलेज में पॉलिटिक्स में गया: लॉरेंस मूल रूप से पंजाब के फाजिल्का का रहने वाला है। उसके पिता कॉन्स्टेबल थे। पिता का सपना उसे IAS अफसर बनाने का था लेकिन लॉरेंस ने चंडीगढ़ DAV कॉलेज में पढ़ाई के दौरान राजनीति में दिलचस्पी लेनी शुरू कर दी।
- चुनाव हारा तो गैंग से भिड़ गया: 2011 में लॉरेंस ने चुनाव लड़ने के लिए एक संगठन बनाया। नाम रखा ‘स्टूडेंट ऑर्गेनाइजेशन ऑफ पंजाब यूनिवर्सिटी’ यानी SOPU। इसी बैनर तले उसने चुनाव लड़ा, लेकिन हार गया। हार के बाद लॉरेंस अपमानित महसूस करने लगा। उसी साल उसने एक रिवॉल्वर खरीदी और उस गैंग से जा भिड़ा जिसके हाथों उसकी हार हुई थी।
- हत्या की कोशिश का केस हुआ, फिर क्राइम की राह पकड़ी: दोनों गैंग के बीच बहस और हाथापाई हुई। इसी बीच लॉरेंस ने फायरिंग कर दी। तब पंजाब पुलिस ने उसके खिलाफ हत्या की कोशिश का मामला दर्ज किया था। लॉरेंस के खिलाफ ये पहला मामला था। इसके बाद लॉरेंस ने अवैध गतिविधियों में शामिल होना शुरू कर दिया।

कॉलेज चुनाव में मिली हार के बाद हुई हिंसा में लॉरेंस को पुलिस ने गिरफ्तार किया था।
- बड़े गैंगस्टर से मिला: वह गैंगस्टर जग्गू भगवानपुरिया और रॉकी फाजिल्का की गैंग से जुड़ गया। भगवानपुरिया गुरदासपुर का रहने वाला था। उसने लॉरेंस को न केवल धंधे के गुर सिखाए बल्कि उसे अपने कामों में खुली छूट भी दी।आगे चलकर लॉरेंस की दोस्ती संपत नेहरा से हुई। लॉरेंस, गोल्डी और संपत ने मिलकर पंजाब के साथ-साथ हरियाणा में भी अपराध को अंजाम देना शुरू किया।
- ऑर्गेनाइज्ड क्राइम में शामिल हुआ, घर छोड़ा: यहीं से लॉरेंस ऑर्गनाइज्ड क्राइम में शामिल हो गया। वो शराब माफिया, ड्रग स्मगलर्स और बिजनेसमैन से फिरौती मांगने लगा। 2012-13 में उस पर केस दर्ज हुए, तो उसने घर छोड़ दिया। फिर ग्रुप के साथ अलग-अलग शहरों में रहने लगा।
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गैंगस्टर लॉरेंस की धमकी- पहलगाम हमले का बदला लूंगा: पाकिस्तान में घुसकर मारेंगे; आतंकी की फोटो पर लाल क्रॉस का निशान लगाया – Fazilka News
