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कई महिलाओं में त्वचा संतरा के छिलके जैसी दिखने लगती है. त्वचा रफ हो जाती है, लालपन आता है या दबा हुआ सा हिस्सा दिखाई देता है. यह बदलाव तब होता है जब कैंसर सेल्स त्वचा के नीचे की छोटी नलियों को रोक देती हैं. यह इंफेक्शन जैसा लग सकता है, लेकिन यह एक गंभीर रूप का संकेत भी हो सकता है, इसलिए डॉक्टर से जांच कराना जरूरी है.

निप्पल में बदलाव भी एक शुरुआती संकेत है. निप्पल अचानक अंदर की ओर मुड़ जाए, उसका रंग या आकार बदल जाए या उस जगह पर रैश और परत उतरने लगे, तो इसे अनदेखा नहीं करना चाहिए. अगर निप्पल से दूध जैसा न दिखने वाला कोई तरल निकले, जैसे साफ पानी, खून या पस, तो यह मिल्क डक्ट्स में समस्या का संकेत हो सकता है और तुरंत जांच की जरूरत होती है.

ऐसा दर्द जो पीरियड्स से जुड़ा न हो, उसे भी गंभीरता से लेना चाहिए. कुछ महिलाओं को लगातार रहने वाला तेज या चुभन वाला दर्द होता है. केवल दर्द से बीमारी की पुष्टि नहीं होती, लेकिन दर्द के साथ सूजन, निप्पल बदलाव या त्वचा में परिवर्तन दिखाई दें तो डॉक्टर से मिलना जरूरी है.

ब्रेस्ट या बगल में सूजन दिखना भी अक्सर शुरुआती लक्षण होता है. कई बार बिना किसी गांठ के भी बगल या कॉलर बोन के पास लिंफ नोड्स सूज जाते हैं. यह सूजन बताती है कि सेल्स लिंफ नलियों तक पहुँच चुकी हैं, इसलिए जांच तुरंत करानी चाहिए.

इन संकेतों को पहचानना बेहद जरूरी है क्योंकि इलाज की सफलता इस बात पर निर्भर करती है कि बीमारी किस स्टेज में पकड़ी गई. सिर्फ गांठ ढूंढना काफी नहीं है. दर्द, सूजन, त्वचा में परिवर्तन या निप्पल बदलाव भी उतने ही महत्वपूर्ण हैं.

खुद को सुरक्षित रखने का सबसे अच्छा तरीका यह है कि आप अपने ब्रेस्ट के सामान्य रूप को जानें और किसी भी नए बदलाव को गंभीरता से लें. निप्पल से तरल आना, त्वचा में बदलाव, लगातार दर्द, सूजन या आकार में फर्क दिखे तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें. शुरुआती पहचान ही सबसे बड़ा बचाव है.
Published at : 21 Nov 2025 06:52 PM (IST)
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