पेयजल आपूर्ति नहीं होने पर भड़के लोग, जलघर को ताला जड़कर जताया रोष


गांव निडाना में जलघर पर ताला जड़ते ग्रामीण। संवाद।

गांव निडाना में जलघर पर ताला जड़ते ग्रामीण। संवाद।
– फोटो : Jind

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जींद। गांव निडाना में पेयजल आपर्ति सुचारू रूप से नहीं मिलने तथा गंदा पानी का आरोप लगाते हुए ग्रामीणों ने बुधवार सुबह गांव के जलघर पर ताला लगा दिया। ग्रामीणों ने यहां कार्यरत कर्मचारियों पर कई-कई दिन जलघर में नहीं पहुंचने तथा काम नहीं करने के आरोप लगाए। सूचना पाकर जनस्वास्थ्य विभाग के कनिष्ठ अभियंता (जेई) प्रदीप कुमार मौके पर पहुंचे और एक सप्ताह में व्यवस्था सुधारने का आश्वासन ग्रामीणों को देकर ताला खुलवाया।
ग्रामीण कृष्ण, जिले सिंह, देवेंद्र मलिक, आनंद मलिक, धर्मबीर, ओमदत्त, सोनू, विनोद, प्रदीप, काला, जयभगवान, नरेंद्र मलिक ने बताया कि गांव में पर्याप्त क्षमता का जलघर है। दो बड़े-बड़े टैंक हैं। कर्मचारियों की लापरवाही के चलते न तो टैंकों में पर्याप्त पानी आता और न ही लोगों को पर्याप्त पानी मिलता। नहर से आने वाला पानी रास्ते में बह जाता है। इसके अलावा जो पाइपलाइन नहर से आती है, वह जगह-जगह लीक है, जिसमें गंदा पानी मिलकर आता है। इसके अलावा टेंकों की भी समय पर सफाई नहीं की जाती, जिस कारण उनमें गंदगी जमा हो गई है। जलघर के टेंकों में गोबर के उपले भी तैरते रहते हैं। यह पानी बिना सफाई के बदबू मारने लगा है। इसके अलावा कर्मचारी कई-कई दिन तक जलघर में नहीं आते। ऐसे में लोगों को पेयजल सप्लाई नहीं होता। ग्रामीणों ने कहा कि यहां बड़े-बड़े फिल्टर बने हुए हैं, लेकिन इनका प्रयोग नहीं होता। ग्रामीणों को बिना फिल्टर किए ही पानी मुहैया करवाया जाता है। ग्रामीण काफी दिन से परेशान हैं। जब ग्रामीण जलघर में कार्यरत कर्मचारियों के पास जाते हैं तो वह उनको उलटा जवाब देते हैं।
ग्रामीणों की मौके पर जाकर समस्याएं सुनीं हैं। कर्मचारियों पर जो आरोप लगाए गए हैं, उनकी जांच की जाएगी। इसके अलावा पाइपलाइन को ठीक करवाकर ग्रामीणों को स्वच्छ पेयजल मुहैया करवाया जाएगा। एक सप्ताह में पूरी व्यवस्था बदल दी जाएगी।
प्रदीप कुमार, जेई, जनस्वास्थ्य विभाग।

जींद। गांव निडाना में पेयजल आपर्ति सुचारू रूप से नहीं मिलने तथा गंदा पानी का आरोप लगाते हुए ग्रामीणों ने बुधवार सुबह गांव के जलघर पर ताला लगा दिया। ग्रामीणों ने यहां कार्यरत कर्मचारियों पर कई-कई दिन जलघर में नहीं पहुंचने तथा काम नहीं करने के आरोप लगाए। सूचना पाकर जनस्वास्थ्य विभाग के कनिष्ठ अभियंता (जेई) प्रदीप कुमार मौके पर पहुंचे और एक सप्ताह में व्यवस्था सुधारने का आश्वासन ग्रामीणों को देकर ताला खुलवाया।

ग्रामीण कृष्ण, जिले सिंह, देवेंद्र मलिक, आनंद मलिक, धर्मबीर, ओमदत्त, सोनू, विनोद, प्रदीप, काला, जयभगवान, नरेंद्र मलिक ने बताया कि गांव में पर्याप्त क्षमता का जलघर है। दो बड़े-बड़े टैंक हैं। कर्मचारियों की लापरवाही के चलते न तो टैंकों में पर्याप्त पानी आता और न ही लोगों को पर्याप्त पानी मिलता। नहर से आने वाला पानी रास्ते में बह जाता है। इसके अलावा जो पाइपलाइन नहर से आती है, वह जगह-जगह लीक है, जिसमें गंदा पानी मिलकर आता है। इसके अलावा टेंकों की भी समय पर सफाई नहीं की जाती, जिस कारण उनमें गंदगी जमा हो गई है। जलघर के टेंकों में गोबर के उपले भी तैरते रहते हैं। यह पानी बिना सफाई के बदबू मारने लगा है। इसके अलावा कर्मचारी कई-कई दिन तक जलघर में नहीं आते। ऐसे में लोगों को पेयजल सप्लाई नहीं होता। ग्रामीणों ने कहा कि यहां बड़े-बड़े फिल्टर बने हुए हैं, लेकिन इनका प्रयोग नहीं होता। ग्रामीणों को बिना फिल्टर किए ही पानी मुहैया करवाया जाता है। ग्रामीण काफी दिन से परेशान हैं। जब ग्रामीण जलघर में कार्यरत कर्मचारियों के पास जाते हैं तो वह उनको उलटा जवाब देते हैं।

ग्रामीणों की मौके पर जाकर समस्याएं सुनीं हैं। कर्मचारियों पर जो आरोप लगाए गए हैं, उनकी जांच की जाएगी। इसके अलावा पाइपलाइन को ठीक करवाकर ग्रामीणों को स्वच्छ पेयजल मुहैया करवाया जाएगा। एक सप्ताह में पूरी व्यवस्था बदल दी जाएगी।

प्रदीप कुमार, जेई, जनस्वास्थ्य विभाग।

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