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अमेरिका की खुफिया एजेंसी FBI के डिप्टी डायरेक्टर डैन बॉनजीनो ने अपने पद से इस्तीफा दे सकत हैं। उन्होंने इस पर विचार भी शुरू कर दिया है।
इसके पीछे जेफरी एपस्टीन केस से जुड़ी फाइलों के खुलासे पर व्हाइट हाउस, FBI और अमेरिका के न्याय विभाग (DOJ) के बीच चल रहा विवाद बड़ी वजह माना जा रहा है।
यह जानकारी CNN ने दी है। बॉनजीनो और अटॉर्नी जनरल पाम बॉन्डी के बीच इस सप्ताह एक तेज बहस के बाद स्थिति और अधिक खराब हो गई है।
बुधवार को FBI डायरेक्टर काश पटेल, बॉनजीनो, बॉन्डी और ट्रम्प की चीफ ऑफ स्टाफ सूजी वाइल्स की बैठक हुई। रिपोर्ट के मुताबिक इस बैठक में यह विवाद खुलकर सामने आया।

शुक्रवार को वे दफ्तर नहीं पहुंचे, जिससे उनके इस्तीफे की अटकलें और तेज हो गईं। (फाइल फोटो)
अटॉर्नी जनरल पॉम बॉन्डी और FBI के बीच विवाद बढ़ा
बुधवार को हुई बैठक में यह सवाल किया गया कि क्या FBI की तरफ से एक मीडिया रिपोर्ट लीक की गई थी जिसमें दावा किया गया कि एजेंसी और अधिक जानकारी सार्वजनिक करना चाहती थी, लेकिन न्याय विभाग ने रोक दिया। हालांकि, बॉनजीनो ने इस रिपोर्ट को लीक करने से इनकार किया। लेकिन उन्होंने उस रिपोर्ट के समर्थन में दिए गए बयान पर हस्ताक्षर भी नहीं किए।
बॉनजीनो और काश पटेल महीनों से बॉन्डी से नाराज थे। बॉन्डी ने एक इंटरव्यू में कहा था कि FBI अभी भी मामले की समीक्षा कर रही है, जबकि वह जांच पहले ही न्याय विभाग को सौंप दी गई थी। इस लेकर नाराजगी और बढ़ गई।
बॉनजीनो की नाराजगी का एक और कारण 10 घंटे की एक निगरानी वीडियो है। इसमें एपस्टीन की जेल के बाहर की फुटेज है। वीडियो में 1 मिनट की क्लिप गायब थी, जिससे साजिश की अटकलें फैल गईं। इसके लिए बॉनजीनो को आंतरिक रूप से जिम्मेदार ठहराया गया।
मस्क बोले- एप्स्टीन सेक्स स्कैंडल की फाइल सार्वजनिक करूंगा
टेस्ला के CEO इलॉन मस्क ने जून में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प पर जेफ्री एप्सटीन फाइल्स को दबाए रखने का आरोप लगाया। मस्क ने कहा कि इन फाइल्स को पब्लिक करना उनकी ‘अमेरिका पार्टी’ की प्राथमिकता है।
मस्क ने मंगलवार को X पर लिखा- ‘अगर ट्रम्प एप्सटीन फाइल्स को जारी नहीं करते, तो लोग उन पर कैसे भरोसा करेंगे?’ एक यूजर ने पूछा क्या उनकी पार्टी के लिए यह मुद्दा अहम है, मस्क ने ‘100’ इमोजी के साथ जवाब दिया।
जेफ्री एप्स्टीन मामला नाबालिग लड़कियों के यौन शोषण से जुड़ा है, जिसमें कई हाई प्रोफाइल लोगों के नाम सामने आए थे।

मस्क ने ट्रम्प का नाम एप्स्टीन केस में उछाला था
टेस्ला के CEO मस्क ने 5 जून को सनसनीखेज दावा करते हुए कहा था कि डोनाल्ड ट्रम्प का नाम जेफरी एपस्टीन की फाइलों में शामिल है।
मस्क ने X पर लिखा था- अब बड़ा खुलासा करने का टाइम है। डोनाल्ड ट्रम्प का नाम एपस्टीन फाइलों में हैं। यही वजह है कि इन्हें सार्वजनिक नहीं किया गया। डोनाल्ड ट्रम्प, आपका दिन शुभ हो।
एक अन्य पोस्ट में कहा- इस पोस्ट को भविष्य के लिए नोट कर लें। सच्चाई सामने आएगी। हालांकि, बाद में मस्क ने वो पोस्ट डिलीट कर दी थी और माना कि वह हद से ज्यादा बोल गए थे।
मस्क ने एप्स्टीन के साथ ट्रम्प का एक वीडियो भी रिपोस्ट किया…
एप्स्टीन केस- नाबालिग लड़कियों के शोषण का आरोप
- जेफ्री एप्स्टीन को पहली बार 2006 में फ्लोरिडा के पाम बीच से गिरफ्तार किया गया। एप्स्टीन को वेश्यावृत्ति और नाबालिगों को लालच देने के लिए दोषी ठहराया गया।
- हालांकि, कुछ सौदेबाजी के बाद उसे सिर्फ 13 महीने की हिरासत मिली, जिसमें वर्क रिलीज की इजाजत थी।
- वर्जीनिया गिफ्रे नाम की महिला ने 2009 में आरोप लगाया कि एप्स्टीन ने उन्हें नाबालिग रहते यौन तस्करी के लिए मजबूर किया। 2011 में गिफ्रे ने इस मामले में ब्रिटेन के प्रिंस एंड्रयू का भी नाम लिया
- 2015 में ग्रिफ्रे ने एप्स्टीन के खिलाफ मुकदमा दायर किया। इसमें एप्स्टीन के प्रिंस एंड्रयू और पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बिल क्लिंटन के साथ रिश्तों का जिक्र था।
- एप्स्टीन को 2019 में फिर से नाबालिगों की यौन तस्करी के मामले में गिरफ्तार किया गया। गिफ्रे ने ही एप्स्टीन के खिलाफ अदालत में गवाही दी।
- एप्स्टीन को वेश्यावृत्ति का नेटवर्क चलाने और बड़ी संख्या में महिलाओं के यौन शोषण और मानव तस्करी का दोषी ठहराया गया।
एप्स्टीन की लिस्ट में बिल क्लिंटन, माइकल जैक्सन का नाम
- जनवरी 2024 में एक अमेरिकी कोर्ट ने जेफ्री एप्स्टीन से जुड़े दस्तावेज सार्वजनिक किए थे। इसमें पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति बिल क्लिंटन, माइकल जैक्सन और ब्रिटेन के प्रिंस एंड्रयू जैसे हाई-प्रोफाइल लोगों के नाम थे।
- इसमें बिल क्लिंटन और प्रिंस एंड्रयू के साथ एप्स्टीन की पुरानी दोस्ती का भी जिक्र किया गया था। एप्स्टीन के मुताबिक क्लिंटन को कम उम्र की लड़कियां पसंद थीं। हालांकि, क्लिंटन के खिलाफ कोई आरोप साबित नहीं हो पाया।

2019 में अमेरिकी कोर्ट के बाहर जेफ्री एप्स्टीन के खिलाफ प्रदर्शन करती महिलाएं।
एप्स्टीन ने जेल में खुदकुशी की थी
एप्स्टीन को 2019 में फ्लोरिडा और न्यूयॉर्क में नाबालिगों की यौन तस्करी के आरोपों में फिर से गिरफ्तार किया गया। 10 अगस्त 2019 को एप्स्टीन ने जेल में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। जिस वक्त उसकी मौत हुई, ट्रम्प अमेरिका के राष्ट्रपति थे।
2025 में 25 अप्रैल को वर्जीनिया गिफ्रे की भी मौत हो गई। रिपोर्ट्स में बताया गया कि उन्होंने आत्महत्या की है। उन्होंने बताया था कि एप्स्टीन ने उन्हें 1999 से 2002 के बीच कई बड़ी हस्तियों के पास भेजा था। उन्होंने यह भी कहा था कि वे एप्स्टीन के जरिए ट्रम्प से कई बार मिली थीं।
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ट्रम्प प्रशासन में एप्स्टीन सेक्स स्कैंडल की फाइल्स पर विवाद: FBI के डिप्टी डायरेक्टर डैन बॉनजीनो इस्तीफा दे सकते हैं