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वॉशिंगटनकुछ ही क्षण पहले

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अमेरिकी राष्ट्रपति पीट हेगसेथ ने 15 मार्च को यमन में हूती विद्रोहियों पर अमेरिकी हमले के प्लान को लीक कर दिया था। हेगसेथ ने प्लान को सिग्नल एप पर एक सीक्रेट ग्रुप चैट में शेयर किया था। इस ग्रुप में द अटलांटिक मैगजीन के मुख्य संपादक जैफ्री गोल्डबर्ग भी जुड़े हुए थे। व्हाइट हाउस ने सोमवार को इसकी जानकारी दी।
जेफ्री गोल्डबर्ग ने बताया कि उन्हें गलती से इस ग्रुप चैट में जोड़ दिया गया था। यह ग्रुप सिक्योर मैसेजिंग ऐप सिग्नल पर बनाया गया था। जिसे राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार माइकल वाल्ट्ज ने बनाया था। इस ग्रुप में अमेरिका के उपराष्ट्रपति जेडी वेंस और विदेश मंत्री मार्को रूबियो भी शामिल थे।
गोल्डबर्ग ने लिखा कि 15 मार्च को सुबह 11:44 बजे हेगसेथ ने यमन पर होने वाले हमलों की जानकारी शेयर की थी। इसमें टारगेट्स और इस्तेमाल किए जाने वाले हथियारों के अलावा कौन-सा हमला कब और कहां किया जाना है, इसकी जानकारी भी थी।

गोल्डबर्ग ने बताया कि उन्होंने हमले से पहले इन प्लान्स को सार्वजनिक नहीं किया।
ट्रम्प बोले- मुझे मामले की जानकारी नहीं
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प से जब इस रिपोर्ट के बारे में पूछा गया, तो उन्होंने कहा कि मुझे इसके बारे में कुछ नहीं पता है। न्यूयॉर्क टाइम्स के मुताबिक रक्षा विभाग पेंटागन ने इस मामले पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया और इसे राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद (NSC) के पास भेज दिया।
NSC के प्रवक्ता ब्रायन ह्यूजेस ने कहा कि हम इसकी जांच कर रहे हैं कि ग्रुप में कैसे एक गलत नंबर से जोड़ दिया गया। विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता टेमी ब्रूस ने मामले पर किसी भी तरह की टिप्पणी करने से इनकार दिया है।
NYT से बात करते हुए राष्ट्रीय सुरक्षा के पूर्व अधिकारियों ने कहा कि अगर इस ग्रुप चैट में निजी मोबाइल फोन का इस्तेमाल किया गया था, तो यह और भी गंभीर मामला बन सकता है क्योंकि चीन लगातार अमेरिकी साइबर नेटवर्क को हैक करने की कोशिश कर रहा है।
हूतियों पर लगातार हमले कर रहा अमेरिका

तस्वीरें मंगलवार रात (24मार्च) की है। इसमें अमेरिकी विमान हूतियों पर हमले के लिए उड़ान भरते दिख रहे हैं।
अमेरिका पिछले कई दिनों से यमन में हूती विद्रोहियों पर हमले कर रहा है। दरअसल, हूती विद्रोही इजराइल-हमास जंग के बाद से लाल सागर में जहाजों अमेरिकी-यूरोपीय जहाजों पर मिसाइल और ड्रोन हमले कर रहे हैं। अमेरिका और ब्रिटेन ने कई बार हूती विद्रोहियों को चेतावनी दी, लेकिन उनके हमले जारी रहे।
इसके चलते जनवरी 2024 से अमेरिका और ब्रिटेन ने हूती ठिकानों पर हवाई हमले शुरू कर दिए। यमन में 2015 से गृहयुद्ध चल रहा है, जिसमें हूती विद्रोही और सऊदी समर्थित सरकार आमने-सामने हैं। अमेरिका और पश्चिमी देश सऊदी अरब का समर्थन करते हैं, जबकि हूती विद्रोही ईरान समर्थित हैं।
पत्रकार को ग्रुप में एड करने वाले वॉल्ट्ज सेना में कर्नल थे
द अटलांटिक के संपादक को सीक्रेट ग्रुप में एड करने वाले अमेरिकी NSA माइक वॉल्ट्ज सेना में कर्नल रह चुके हैं। वे राजनेता के साथ-साथ बिजनेसमैन और लेखक भी है। उन्हें ट्रम्प ने अमेरिका का 25वां राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बनाया है।
माइक ने वर्जीनिया मिलिट्री इंस्टीट्यूट से इंटरनेशनल स्टडीज में ऑनर्स के साथ स्नातक किया है। अपने 27 साल के सैन्य करियर में, उन्होंने अफगानिस्तान, मिडिल ईस्ट और अफ्रीका में कई सैन्य अभियानों में हिस्सा लिया है।
उनके पिता और दादा दोनों अमेरिकी नौसेना में चीफ थे। माइक रक्षा विभाग पेंटागन में रक्षा नीति निदेशक भी रहे है। उन्होंने जॉर्ज डब्ल्यू. बुश प्रशासन में उपराष्ट्रपति डिक चेनी के आतंकवाद विरोधी सलाहकार के रूप में भी कार्य किया है।
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