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Night Shift Health Risks: ऑफिस का काम स्मूथ तरीके से चले इसलिए कंपनियां रात में भी काम करवाती हैं. इसके लिए वे कुछ कर्मचारियों को ड्यूटी पर लगाती हैं, जो रात में कंपनी का काम करते हैं. रात में काम करना जितना आरामदायक दूर से देखने वाले लोगों को लगता है, वह उतना आसान नहीं होता. इससे पहला तो आपकी नींद सही तरीके से नहीं हो पाती, क्योंकि दिन में आप सोकर रात वाली नींद की कमी पूरा नहीं कर सकते हैं. दूसरा इससे कई तरह की बीमारी होने का खतरा बना रहता है. हाल ही में आए एक स्टडी में इस बात का खुलासा किया गया है कि रात में काम करने वाले लोगों को किडनी स्टोन होने का खतरा सबसे ज्यादा होता है. चलिए आपको इस रिसर्च के बारे में विस्तार से बताते हैं कि इसमें क्या-क्या निकल कर सामने आया है.
क्या निकला रिसर्च में?
मायो क्लिनिक प्रोसीडिंग्स नामक जर्नल में प्रकाशित स्टडी की रिपोर्ट के अनुसार, इसमें सबसे ज्यादा किडनी स्टोन की समस्या के बारे में बताया गया है कि रात में काम करने वालों को सामान्य स्तर से ज्यादा किडनी स्टोन की दिक्कत होने की संभावना होती है. इसका खतरा उन लोगों में ज्यादा होता है, जो लोग शारीरिक मेहनत कम करते हैं या अभी पूरी तरह यंग हैं. रिसर्च के अनुसार, शरीर का भार, पानी पीने की आदत और अन्य तमाम तरह की लाइफस्टाइल से जुड़ी आदतें स्टोन को बनाने में अहम भूमिका निभाती हैं. नाइट शिफ्ट में काम करने वाले लोग अपनी लाइफस्टाइल को सही तरीके से मैनेज नहीं कर पाते हैं, जिसके चलते उनके शरीर का सर्केडियन रिदम प्रभावित होता है. यह एक नेचुरल प्रक्रिया है, जो शरीर के कई फंक्शन को तय करती है, जैसे कि कब सोना है, कब जागना है और शरीर के अंदर कौन सा हार्मोन कब बनेगा. इसलिए एक बार जब यह प्रभावित होता है, तो पूरे शरीर का बैलेंस बिगड़ जाता है.
क्या कहते हैं एक्सपर्ट?
चीन के सन यात-सेन यूनिवर्सिटी में एपिडेमियोलॉजी विभाग के मुख्य रिसर्चर यिन यांग का कहना है कि “जो लोग नाइट शिफ्ट में काम करते हैं, उनके अंदर किडनी स्टोन होने का खतरा करीब 15 प्रतिशत ज्यादा होता है. इसमें इस खतरे को बढ़ाने में उनकी तमाम लाइफस्टाइल से जुड़ी चीजें जैसे कि स्मोकिंग, नींद की कमी, कम पानी पीना और ज्यादा वजन बढ़ना भी शामिल होता है.” इस पूरे रिसर्च के दौरान यिन यांग और उनकी टीम ने 2,20,000 के आसपास लोगों का डाटा इकट्ठा किया था और उनको 14 सालों तक फॉलो किया था. जिसमें अलग-अलग वर्क शिफ्ट में काम करने वाले लोगों की जानकारी जुटाई गई थी. अमेरिका के मायो क्लिनिक के नेफ्रोलॉजी और हाइपरटेंशन विभाग के फेलिक्स नॉफ की तरफ से पब्लिश इस एडिटोरियल में इस बात पर जोर दिया गया कि नाइट शिफ्ट में काम करने वाले लोगों का सर्केडियन रिदम सबसे ज्यादा प्रभावित होता है.
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Disclaimer: यह जानकारी रिसर्च स्टडीज और विशेषज्ञों की राय पर आधारित है. इसे मेडिकल सलाह का विकल्प न मानें. किसी भी नई गतिविधि या व्यायाम को अपनाने से पहले अपने डॉक्टर या संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
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