संवाद न्यूज एजेंसी, हिसार
Updated Sun, 19 Mar 2023 12:14 AM IST

हिसार गवर्नमेंट कॉलेज में आयोजित सेमिनार में मंच पर बैठे मुख्य वक्ता।
हिसार। राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय हिसार में शनिवार को पर्यावरण संरक्षण व सतत पोषणीय विकास एक व्यवहारिक दृष्टीकोण विषय पर एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी हुई। जिसका आयोजन भूगोल विभाग द्वारा किया गया। राष्ट्रीय संगोष्ठी में चौधरी रणबीर सिंह विश्वविद्यालय जींद के कुलपति डॉ. रणपाल सिंह ने मुख्य अतिथि व पंजाब विश्वविद्यालय के डॉ. गौरव कलौत्रा ने अति विशिष्ट अतिथि के रूप में शिरकत की। इस संगोष्ठी में मुख्य वक्ता एमडीयू रोहतक के सेवानिवृत्त प्रोफेसर डॉ. इन्द्रजीत रहे। संगोष्ठी की अध्यक्षता कॉलेज प्राचार्य डॉ. दीपमाला लोहान ने की।
मुख्य अतिथि डॉ. रणपाल ने पर्यावरण संरक्षण के सतत विकास को बढ़ावा देने की बात कहीं ताकि भविष्य को सुरक्षित किया जा सके। उन्होंने कहा कि शिक्षक वर्ग ही समाज निर्माता है और ये पर्यावरण संरक्षण में विशेष योगदान देकर जागृति पैदा कर सकते हैं। प्रो. गौरव कलौत्रा ने बताया कि जब तक मनुष्य ग्रामीण इलाके में रहता था तब तक पर्यावरण का संरक्षण समान रूप से चलता था लेकिन जैसे मानव शहरी क्षेत्र में जाने लगा इसके साथ ही संसाधनों का शोषण भी बढ़ गया। उन्होंने कहा कि हमें एक ऐसा परिपेक्ष अपनाना चाहिए जिससे पर्यावरण संरक्षण व विकास दोनों साथ-साथ हो।
मुख्य वक्ता डाॅ. इन्द्रजीत सिंह ने हरियाणा में भूजल का सतत पोषणीय विकास व सरकार के समक्ष चुनौती विषय पर विस्तृत व्याख्यान दिया। उन्होंने सतत पोषण, सतत पोषणीय विकास सहस्त्राबदी विकास लक्ष्य व पर्यावरणीय संकट के कारणों के बारे में विस्तार से बताया। संगोष्ठी के संचालक प्रो. बलवान सिंह ने सभी का धन्यवाद किया व रागनी के माध्यम से पर्यावरण संरक्षण का संदेश दिया। संगोष्ठी में देश के 350 शोध पत्र प्रस्तुत हुए। भूगोल विभाग के विभागाध्यक्ष डाॅ. राजेन्द्र सेवदा ने संगोष्ठी के बारे में विस्तृत जानकारी दी। प्राचार्या दीपमाला लोहान, संगोष्ठी के संयोजक राजेंद्र सेवदा व मुख्य अतिथि ने संगोष्ठी की सारिका का विमोचन किया।
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