पहली बार चेयरपर्सन के सीधे चुनाव में 63.7% मतदान


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भिवानी। शहर की सरकार चुनने के लिए लोगों में रविवार को जबरदस्त उत्साह दिखा। नगर परिषद के चेयरपर्सन के लिए हुए सीधे मतदान में 63.6 फीसदी मतदान हुआ। यानी 140 बूथों पर 1,46,264 मतदाताओं में से 93089 ने मतदान कर शहर की सरकार बनाने में अपनी जिम्मेदारी निभाई। सुबह बारिश के बाद मतदान में तेजी आई और दोपहर एक बजे तक ही 40 फीसदी से अधिक मतदान हो चुका था।
चेयरपर्सन के लिए पहली बार हुए चुनाव में बुजुर्गों में भी युवाओं सा जोश दिखाई दिया। महिलाएं भी घूंघट के साथ भारी संख्या में मतदान करनी पहुंची तो युवाओं का जोश देखते ही बनता था। लोकतंत्र के इस पर्व में हर वर्ग ने अपनी जिम्मेदारी निभाई। कुछ जगह फर्जी मतदान की अफवाहें और छिटपुट विवाद को छोड़ दे तो मतदान शांतिपूर्ण रहा। जिला प्रशासन के आला अधिकारियों के अलावा डीआईजी स्वयं मतदान केंद्रों पर व्यवस्थाओं का निरीक्षण करते नजर आए।
नगर परिषद चेयरपर्सन और 30 पार्षद पदों के मतदान के लिए शहर के विभिन्न स्कूलों, धर्मशालाओं, आईटीआई में 140 बूथ बनाए गए थे। जहां सुबह सात बजे पुलिस के सुरक्षा घेरे में मतदान शुरू हुआ। बारिश के कारण शुरूआत धीमी रही मगर बाद में मतदान के लिए लोगों की भीड़ उमड़ी। मतदान केंद्रों के बाहर स्टॉल लगाकर विभिन्न प्रत्याशियों के एजेंट व समर्थक मतदाताओं को अपने पक्ष में मतदान करने के लिए अपील करते रहे। दिनभर यह सिलसिला चलता रहा। प्रत्याशी स्वयं भी विभिन्न बूथों पर भागदौड़ करते नजर आए।
फर्जी मतदान पर हंगामा, युवक को किया पुलिस के हवाले
सेठ किरोड़ीमल राजकीय मॉडल संस्कृति स्कूल के बूथ नंबर 135 पर फर्जी मतदान को लेकर हंगामा हुआ। यहां विभिन्न प्रत्याशियों के समर्थकों ने फर्जी मतदान के आरोप लगाए। जिसके बाद पुलिस मौके पर पहुंची। एसएचओ शहर थाना इंस्पेक्टर नरेंद्र राणा ने बताया कि प्रिजाइडिंग ऑफिसर ने बताया है कि कोई फर्जी मतदान नहीं हुआ। एक युवक का आधार कार्ड सही नहीं था, जिसे रोका गया। वह अभी भी हमारे पास है। अभी तक इस संदर्भ में कोई लिखित शिकायत नहीं आई है। शिकायत आती है तो कार्रवाई की जाएगी। इस बूथ के अलावा भी शहर के कुछ बूथों पर फर्जी मतदान को लेकर अफवाहें फैली।
यूं चला मतदान
समय मतदान
07 से 08 बजे तक 1.8 प्रतिशत
09 बजे तक 7.5 प्रतिशत
10 बजे तक 18.1 प्रतिशत
11 बजे तक 22.4 प्रतिशत
12 बजे तक 33.8 प्रतिशत
01 बजे तक 41.5 प्रतिशत
03 बजे तक 53.7 प्रतिशत
04 बजे तक 58.3 प्रतिशत
05 बजे तक 61 प्रतिशत
06 बजे तक 63.7 प्रतिशत
चेयरपर्सन के सीधे चुनाव से रुकेगा भ्रष्टाचार
इस बार चेयरपर्सन का सीधे चुनाव है। यह भ्रष्टाचार रोकने में कारगर साबित होगा। अब तक पार्षद चुने जाते थे और वे चेयरमैन या चेयरपर्सन को चुनते थे। ऐसे में पार्षदों की खरीद फरोख्त होती थी। जो खरीद-फरोख्त करके चेयरमैन बनेगा, वो भ्रष्टाचार तो फैलाएगा ही। ऐसे में इस बार सीधे प्रधान का चुनाव कराने का सरकार का निर्णय सराहनीय है।
– नरेंद्र सिंह, सेवानिवृत्त खंड शिक्षा अधिकारी
फोन पर रोक, रखनें के लिए भटकते रहे मतदाता
अब तक लोग मतदान केंद्र के अंदर तक फोन लेकर जाते थे। काफी तो ऐसे थे जो मतदान करते हुए स्वयं की सेल्फी लेते और सोशल मीडिया पर अपलोड करते। जिससे मतदान की विश्वसनीयता पर सवाल उठ रहे थे। अब की बार मतदान केंद्रों पर मोबाइल ले जाने पर रोक लगाई गई। जिस कारण काफी मतदाताओं को परेशानी भी हुई। पुलिस मोबाइल मतदान केंद्र के अंदर नहीं ले जाने दे रही थी और बाहर रखने की कोई जगह नहीं होने के कारण मतदाता परेशान रहे। ऐसे में किसी ने बाहर स्टॉल पर पर्चियां बना रहे विभिन्न उम्मीदवारों के समर्थकों को दिये तो कुछ घर रखकर आए। कुछ ने बाहर ड्यूटी दे रहे पुलिस कर्मियों की ही मदद ली और उनके पास फोन रखें।
बारिश ने धोया शुरूआती एक घंटा, उड़ गए पंडाल
मतदान की शुरूआत सुबह सात बजे हुई मगर मतदान से पहले ही करीब पौने सात बजे बारिश शुरू हो गई। बारिश और तेज हवाओं के कारण विभिन्न प्रत्याशियों के मतदान केंद्रों के बाहर लगे स्टॉल के टैंट भी उड़ गए। करीब एक घंटे तक चली बूंदाबांदी के कारण शुरूआती एक घंटे में मतदान काफी प्रभावित रहा और बहुत कम लोग ही मतदान के लिए पहुंचे। बारिश थमने के बाद प्रत्याशियों के समर्थकों ने नए सिरे से अपनी स्टॉल जचाई। सुबह आठ से 11 बजे के बीच मतदान का जोर रहा।
भिवानी विधानसभा चुनाव से ज्यादा मतदान, उम्मीद से कम
पिछले विधानसभा चुनाव में 58.7 प्रतिशत मतदान हुआ था। विधानसभा में शहर के साथ आसपास के गांव भी आते है। लोगों का मानना है कि मतदान के प्रति शहर वासियों में ज्यादा जागरूकता है। ऐसे में इस बार शहर की सरकार चुनने के लिए ज्यादा मतदान होना चाहिए था। इस बार करीब 63 फीसदी मतदान हुआ है। विधानसभा चुनाव से भले ही यह ज्यादा है मगर उम्मीद से बहुत कम। शहर वासी ही स्वयं प्रत्याशी भी दोपहर एक बजे तक हुए 40 फीसदी से अधिक मतदान को देखकर शाम तक 80 फीसदी तक मतदान की उम्मीद कर रहे थे। मगर ऐसा नहीं हुआ। चार बजे के बाद मतदान पर ऐसा ब्रेक लगा कि यह बमुश्किल 63.6 फीसदी तक ही पहुंच पाया।
बुजुर्गों में दिखा युवाओं सा जोश, कोई गोद में आया तो कोई व्हील चेयर पर
शहर की सरकार बनाने में बुजुर्गों में भी युवाओं सा जोश नजर आया। काफी बुजुर्ग तो ऐसे थे, जो चलने-फिरने में असमर्थ थे। बावजूद इसके कोई लकड़ी के सहारे तो कोई परिजनों का सहारा लेकर मतदान करने पहुंचा। किसी को परिजन कुर्सी पर बैठाकर उठाकर लाए तो किसी को व्हील चेयर और गोद में उठाकर। काफी बुजुर्ग ऐसे भी थे, जिन्हें परिजन सहारा देकर लाए।
प्रत्याशियों ने झोंकी ताकत, घरों से बुलाकर लाए मतदाता
चुनाव में प्रत्याशियों ने अंतिम दिन भी अपनी पूरी ताकत झोंके रखीं। अधिकतर प्रत्याशी और उनके समर्थक मतदाताओं को घर-घर से लाए। किसी को गाड़ी में लाए तो किसी को सहारा देकर। चेयरपर्सन के चुनाव से ज्यादा पार्षद पदों के लिए प्रत्याशी अधिक मेहनत करते दिखें। हरेक मतदाता को फोन करके बुलाते दिखे।

भिवानी। शहर की सरकार चुनने के लिए लोगों में रविवार को जबरदस्त उत्साह दिखा। नगर परिषद के चेयरपर्सन के लिए हुए सीधे मतदान में 63.6 फीसदी मतदान हुआ। यानी 140 बूथों पर 1,46,264 मतदाताओं में से 93089 ने मतदान कर शहर की सरकार बनाने में अपनी जिम्मेदारी निभाई। सुबह बारिश के बाद मतदान में तेजी आई और दोपहर एक बजे तक ही 40 फीसदी से अधिक मतदान हो चुका था।

चेयरपर्सन के लिए पहली बार हुए चुनाव में बुजुर्गों में भी युवाओं सा जोश दिखाई दिया। महिलाएं भी घूंघट के साथ भारी संख्या में मतदान करनी पहुंची तो युवाओं का जोश देखते ही बनता था। लोकतंत्र के इस पर्व में हर वर्ग ने अपनी जिम्मेदारी निभाई। कुछ जगह फर्जी मतदान की अफवाहें और छिटपुट विवाद को छोड़ दे तो मतदान शांतिपूर्ण रहा। जिला प्रशासन के आला अधिकारियों के अलावा डीआईजी स्वयं मतदान केंद्रों पर व्यवस्थाओं का निरीक्षण करते नजर आए।

नगर परिषद चेयरपर्सन और 30 पार्षद पदों के मतदान के लिए शहर के विभिन्न स्कूलों, धर्मशालाओं, आईटीआई में 140 बूथ बनाए गए थे। जहां सुबह सात बजे पुलिस के सुरक्षा घेरे में मतदान शुरू हुआ। बारिश के कारण शुरूआत धीमी रही मगर बाद में मतदान के लिए लोगों की भीड़ उमड़ी। मतदान केंद्रों के बाहर स्टॉल लगाकर विभिन्न प्रत्याशियों के एजेंट व समर्थक मतदाताओं को अपने पक्ष में मतदान करने के लिए अपील करते रहे। दिनभर यह सिलसिला चलता रहा। प्रत्याशी स्वयं भी विभिन्न बूथों पर भागदौड़ करते नजर आए।

फर्जी मतदान पर हंगामा, युवक को किया पुलिस के हवाले

सेठ किरोड़ीमल राजकीय मॉडल संस्कृति स्कूल के बूथ नंबर 135 पर फर्जी मतदान को लेकर हंगामा हुआ। यहां विभिन्न प्रत्याशियों के समर्थकों ने फर्जी मतदान के आरोप लगाए। जिसके बाद पुलिस मौके पर पहुंची। एसएचओ शहर थाना इंस्पेक्टर नरेंद्र राणा ने बताया कि प्रिजाइडिंग ऑफिसर ने बताया है कि कोई फर्जी मतदान नहीं हुआ। एक युवक का आधार कार्ड सही नहीं था, जिसे रोका गया। वह अभी भी हमारे पास है। अभी तक इस संदर्भ में कोई लिखित शिकायत नहीं आई है। शिकायत आती है तो कार्रवाई की जाएगी। इस बूथ के अलावा भी शहर के कुछ बूथों पर फर्जी मतदान को लेकर अफवाहें फैली।

यूं चला मतदान

समय मतदान

07 से 08 बजे तक 1.8 प्रतिशत

09 बजे तक 7.5 प्रतिशत

10 बजे तक 18.1 प्रतिशत

11 बजे तक 22.4 प्रतिशत

12 बजे तक 33.8 प्रतिशत

01 बजे तक 41.5 प्रतिशत

03 बजे तक 53.7 प्रतिशत

04 बजे तक 58.3 प्रतिशत

05 बजे तक 61 प्रतिशत

06 बजे तक 63.7 प्रतिशत

चेयरपर्सन के सीधे चुनाव से रुकेगा भ्रष्टाचार

इस बार चेयरपर्सन का सीधे चुनाव है। यह भ्रष्टाचार रोकने में कारगर साबित होगा। अब तक पार्षद चुने जाते थे और वे चेयरमैन या चेयरपर्सन को चुनते थे। ऐसे में पार्षदों की खरीद फरोख्त होती थी। जो खरीद-फरोख्त करके चेयरमैन बनेगा, वो भ्रष्टाचार तो फैलाएगा ही। ऐसे में इस बार सीधे प्रधान का चुनाव कराने का सरकार का निर्णय सराहनीय है।

– नरेंद्र सिंह, सेवानिवृत्त खंड शिक्षा अधिकारी

फोन पर रोक, रखनें के लिए भटकते रहे मतदाता

अब तक लोग मतदान केंद्र के अंदर तक फोन लेकर जाते थे। काफी तो ऐसे थे जो मतदान करते हुए स्वयं की सेल्फी लेते और सोशल मीडिया पर अपलोड करते। जिससे मतदान की विश्वसनीयता पर सवाल उठ रहे थे। अब की बार मतदान केंद्रों पर मोबाइल ले जाने पर रोक लगाई गई। जिस कारण काफी मतदाताओं को परेशानी भी हुई। पुलिस मोबाइल मतदान केंद्र के अंदर नहीं ले जाने दे रही थी और बाहर रखने की कोई जगह नहीं होने के कारण मतदाता परेशान रहे। ऐसे में किसी ने बाहर स्टॉल पर पर्चियां बना रहे विभिन्न उम्मीदवारों के समर्थकों को दिये तो कुछ घर रखकर आए। कुछ ने बाहर ड्यूटी दे रहे पुलिस कर्मियों की ही मदद ली और उनके पास फोन रखें।

बारिश ने धोया शुरूआती एक घंटा, उड़ गए पंडाल

मतदान की शुरूआत सुबह सात बजे हुई मगर मतदान से पहले ही करीब पौने सात बजे बारिश शुरू हो गई। बारिश और तेज हवाओं के कारण विभिन्न प्रत्याशियों के मतदान केंद्रों के बाहर लगे स्टॉल के टैंट भी उड़ गए। करीब एक घंटे तक चली बूंदाबांदी के कारण शुरूआती एक घंटे में मतदान काफी प्रभावित रहा और बहुत कम लोग ही मतदान के लिए पहुंचे। बारिश थमने के बाद प्रत्याशियों के समर्थकों ने नए सिरे से अपनी स्टॉल जचाई। सुबह आठ से 11 बजे के बीच मतदान का जोर रहा।

भिवानी विधानसभा चुनाव से ज्यादा मतदान, उम्मीद से कम

पिछले विधानसभा चुनाव में 58.7 प्रतिशत मतदान हुआ था। विधानसभा में शहर के साथ आसपास के गांव भी आते है। लोगों का मानना है कि मतदान के प्रति शहर वासियों में ज्यादा जागरूकता है। ऐसे में इस बार शहर की सरकार चुनने के लिए ज्यादा मतदान होना चाहिए था। इस बार करीब 63 फीसदी मतदान हुआ है। विधानसभा चुनाव से भले ही यह ज्यादा है मगर उम्मीद से बहुत कम। शहर वासी ही स्वयं प्रत्याशी भी दोपहर एक बजे तक हुए 40 फीसदी से अधिक मतदान को देखकर शाम तक 80 फीसदी तक मतदान की उम्मीद कर रहे थे। मगर ऐसा नहीं हुआ। चार बजे के बाद मतदान पर ऐसा ब्रेक लगा कि यह बमुश्किल 63.6 फीसदी तक ही पहुंच पाया।

बुजुर्गों में दिखा युवाओं सा जोश, कोई गोद में आया तो कोई व्हील चेयर पर

शहर की सरकार बनाने में बुजुर्गों में भी युवाओं सा जोश नजर आया। काफी बुजुर्ग तो ऐसे थे, जो चलने-फिरने में असमर्थ थे। बावजूद इसके कोई लकड़ी के सहारे तो कोई परिजनों का सहारा लेकर मतदान करने पहुंचा। किसी को परिजन कुर्सी पर बैठाकर उठाकर लाए तो किसी को व्हील चेयर और गोद में उठाकर। काफी बुजुर्ग ऐसे भी थे, जिन्हें परिजन सहारा देकर लाए।

प्रत्याशियों ने झोंकी ताकत, घरों से बुलाकर लाए मतदाता

चुनाव में प्रत्याशियों ने अंतिम दिन भी अपनी पूरी ताकत झोंके रखीं। अधिकतर प्रत्याशी और उनके समर्थक मतदाताओं को घर-घर से लाए। किसी को गाड़ी में लाए तो किसी को सहारा देकर। चेयरपर्सन के चुनाव से ज्यादा पार्षद पदों के लिए प्रत्याशी अधिक मेहनत करते दिखें। हरेक मतदाता को फोन करके बुलाते दिखे।

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