नीतू व जैस्मिन ने विश्व चैंपियन को हराकर कॉमनवेल्थ गेम्स की टिकट पक्की की


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भिवानी। कॉमनवेल्थ गेम्स-2022 का आयोजन इंग्लैंड के शहर बर्मिंघम में होंगे, जिनमें जिले की मुक्केबाज जैस्मिन और नीतू स्वर्ण पदक के लिए पंच लगाएगी। कॉमनवेल्थ गेम्स-2022 के लिए देश के चार मुक्केबाजों का चयन हुआ है। कुल चार मुक्केबाजों में से दो मुक्केबाज भिवानी जिले के हैं। मौजूदा वर्ल्ड चैंपियन मुक्केबाज निखत जरीन ने 50 किलोग्राम भार वर्ग और ओलंपिक कांस्य पदक विजेता लवलीन बोरगोहेन ने 70 किलोग्राम भार वर्ग के अलावा भिवानी जिला से बॉक्सर नीतू घनघस ने 48 किग्रा और जैस्मिन लंबोरिया ने 60 किग्रा भार वर्ग में राष्ट्रमंडल खेलों के लिए टीम में जगह पक्की की है।
दो बार की पूर्व युवा वर्ल्ड चैंपियन नीतू ने 2019 की रजत पदक विजेता मंजू रानी पर 5-2 से जीत दर्ज की। वर्ष 2021 एशियाई युवा मुक्केबाजी चैंपियनशिप की कांस्य पदक विजेता जैस्मिन ने लाइट मिडिलवेट फाइनल में 2022 विश्व चैंपियनशिप की कांस्य पदक विजेता परवीन हुड्डा को धूल चटा दी। इस साल राष्ट्रमंडल खेल 28 जुलाई से आठ अगस्त तक बर्मिंघम में होना है। संवाद
नीतू ने बनाई मुक्केबाजी में अलग पहचान
जिले के गांव धनाना निवासी नीतू घणघस (21) ने वर्ष 2012 में भिवानी में कोच जगदीश के पास ट्रेनिंग शुरू की थी। मेहनत के बल पर वह आज इस मुकाम पर पहुंची है। 48 किलो भारवर्ग की बॉक्सर नीतू सीबीएलयू से एमपीएड की पढ़ाई कर रही हैं। मुक्केबाजी में महज 10 साल के सफर में नीतू ने गांव की पहचान अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बना दी है।
नीतू घनघस की प्रमुख उपलब्धियां:
वर्ष-2017 में वर्ल्ड चैंपियनशिप गोवाहटी में स्वर्ण पदक।
वर्ष 2018 में एशियन चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक।
वर्ष-2018 वर्ल्ड चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक।
वर्ष 2022 में सोफिया बुल्गारिया में हुए स्ट्रेडजा कप इटली की खिलाड़ी हो हराकर जीता स्वर्ण पदक।
छह साल में जैस्मिन ने हराए धुरंधर मुक्केबाज
हालुवास गेट क्षेत्र में महताब दास की ढाणी निवासी बॉक्सर जैस्मीन लंबोरिया (20) ने वर्ष 2016 में मुक्केबाजी में चाचा प्रविंद्र और संदीप के मार्गदर्शन में बॉक्सिंग शुरू की। जैस्मिन 60 किलोग्राम भारवर्ग की मुक्केबाज है। जैस्मिन के पिता जयबीर लंबोरिया अनुबंध आधार पर सुरक्षाकर्मी हैं। जैस्मिन ने मुक्केबाजी के छह साल के इस सफर में नेशनल से लेकर वर्ल्ड चैंपियन बॉक्सर को हराकर अपनी विशेष पहचान बनाई है।
जैस्मिन लंबोरिया की प्रमुख उपलब्धियां
– वर्ष 2021 में दुबई में आयोजित एशियन बॉक्सिंग चैंपियनशीप में कांस्य पदक
– वर्ष 2021 में बॉक्सम इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में सिल्वर मेडल
ये जीत चुके है कॉमनवेल्थ गेम्स में पदक
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भिवानी को मिनी क्यूबा के नाम से पहचान दिखाने वाले ओलंपिक पदक विजेता बिजेंद्र सिंह बैनावाल, गांव दिनोद निवासी परमजीत, देवसर निवासी मनीष कौशिक, विकास कृष्णन यादव, अखिल कुमार ने कॉमनवेल्थ गेम्स में बेहतर प्रदर्शन करते हुए देश के नाम पदक किए हैं।
देश से चार खिलाड़ियों को कॉमनवेल्थ गेम्स के लिए चयन हुआ है, जिनमें से दो खिलाड़ी भिवानी से हैं, जो कि हमारे लिए गर्व की बात है। जैस्मिन ने शुरुआत ढाई साल में ही विश्व चैंपियन मुक्केबाज को हराकर विशेष पहचान बनाई थी। वहीं, नीतू ने 10 साल के सफर में धुरंधर मुक्केबाजों को हराया है, जिनमें मैरी कॉम भी शामिल है। अब हमें उम्मीद है कि कॉमनवेल्थ गेम्स में चारों मुक्केबाज स्वर्ण पदक लाकर देश का नाम रोशन करेंगे।
– संदीप लंबोरिया, जैस्मिन के कोच एवं चाचा।

भिवानी। कॉमनवेल्थ गेम्स-2022 का आयोजन इंग्लैंड के शहर बर्मिंघम में होंगे, जिनमें जिले की मुक्केबाज जैस्मिन और नीतू स्वर्ण पदक के लिए पंच लगाएगी। कॉमनवेल्थ गेम्स-2022 के लिए देश के चार मुक्केबाजों का चयन हुआ है। कुल चार मुक्केबाजों में से दो मुक्केबाज भिवानी जिले के हैं। मौजूदा वर्ल्ड चैंपियन मुक्केबाज निखत जरीन ने 50 किलोग्राम भार वर्ग और ओलंपिक कांस्य पदक विजेता लवलीन बोरगोहेन ने 70 किलोग्राम भार वर्ग के अलावा भिवानी जिला से बॉक्सर नीतू घनघस ने 48 किग्रा और जैस्मिन लंबोरिया ने 60 किग्रा भार वर्ग में राष्ट्रमंडल खेलों के लिए टीम में जगह पक्की की है।

दो बार की पूर्व युवा वर्ल्ड चैंपियन नीतू ने 2019 की रजत पदक विजेता मंजू रानी पर 5-2 से जीत दर्ज की। वर्ष 2021 एशियाई युवा मुक्केबाजी चैंपियनशिप की कांस्य पदक विजेता जैस्मिन ने लाइट मिडिलवेट फाइनल में 2022 विश्व चैंपियनशिप की कांस्य पदक विजेता परवीन हुड्डा को धूल चटा दी। इस साल राष्ट्रमंडल खेल 28 जुलाई से आठ अगस्त तक बर्मिंघम में होना है। संवाद

नीतू ने बनाई मुक्केबाजी में अलग पहचान

जिले के गांव धनाना निवासी नीतू घणघस (21) ने वर्ष 2012 में भिवानी में कोच जगदीश के पास ट्रेनिंग शुरू की थी। मेहनत के बल पर वह आज इस मुकाम पर पहुंची है। 48 किलो भारवर्ग की बॉक्सर नीतू सीबीएलयू से एमपीएड की पढ़ाई कर रही हैं। मुक्केबाजी में महज 10 साल के सफर में नीतू ने गांव की पहचान अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बना दी है।

नीतू घनघस की प्रमुख उपलब्धियां:

वर्ष-2017 में वर्ल्ड चैंपियनशिप गोवाहटी में स्वर्ण पदक।

वर्ष 2018 में एशियन चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक।

वर्ष-2018 वर्ल्ड चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक।

वर्ष 2022 में सोफिया बुल्गारिया में हुए स्ट्रेडजा कप इटली की खिलाड़ी हो हराकर जीता स्वर्ण पदक।

छह साल में जैस्मिन ने हराए धुरंधर मुक्केबाज

हालुवास गेट क्षेत्र में महताब दास की ढाणी निवासी बॉक्सर जैस्मीन लंबोरिया (20) ने वर्ष 2016 में मुक्केबाजी में चाचा प्रविंद्र और संदीप के मार्गदर्शन में बॉक्सिंग शुरू की। जैस्मिन 60 किलोग्राम भारवर्ग की मुक्केबाज है। जैस्मिन के पिता जयबीर लंबोरिया अनुबंध आधार पर सुरक्षाकर्मी हैं। जैस्मिन ने मुक्केबाजी के छह साल के इस सफर में नेशनल से लेकर वर्ल्ड चैंपियन बॉक्सर को हराकर अपनी विशेष पहचान बनाई है।

जैस्मिन लंबोरिया की प्रमुख उपलब्धियां

– वर्ष 2021 में दुबई में आयोजित एशियन बॉक्सिंग चैंपियनशीप में कांस्य पदक

– वर्ष 2021 में बॉक्सम इंटरनेशनल बॉक्सिंग टूर्नामेंट में सिल्वर मेडल

ये जीत चुके है कॉमनवेल्थ गेम्स में पदक

अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भिवानी को मिनी क्यूबा के नाम से पहचान दिखाने वाले ओलंपिक पदक विजेता बिजेंद्र सिंह बैनावाल, गांव दिनोद निवासी परमजीत, देवसर निवासी मनीष कौशिक, विकास कृष्णन यादव, अखिल कुमार ने कॉमनवेल्थ गेम्स में बेहतर प्रदर्शन करते हुए देश के नाम पदक किए हैं।

देश से चार खिलाड़ियों को कॉमनवेल्थ गेम्स के लिए चयन हुआ है, जिनमें से दो खिलाड़ी भिवानी से हैं, जो कि हमारे लिए गर्व की बात है। जैस्मिन ने शुरुआत ढाई साल में ही विश्व चैंपियन मुक्केबाज को हराकर विशेष पहचान बनाई थी। वहीं, नीतू ने 10 साल के सफर में धुरंधर मुक्केबाजों को हराया है, जिनमें मैरी कॉम भी शामिल है। अब हमें उम्मीद है कि कॉमनवेल्थ गेम्स में चारों मुक्केबाज स्वर्ण पदक लाकर देश का नाम रोशन करेंगे।

– संदीप लंबोरिया, जैस्मिन के कोच एवं चाचा।

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